मेरे मन की बात
आज संयुक्त राष्ट्र
संघ द्वारा घोषित “अन्तरराष्ट्रीय योग –दिवस
“है \उत्तरी गोलार्ध में सबसे बड़ा दिन
\ग्रीष्म –काल व वर्षा-काल का संयुक्त काल \ योग कोई नवीं विधा नहीं है \आज से पांच हजार वर्ष पूर्व
प्रारम्भ हुई विधा की समूचे विश्व में
मान्यता प्राप्त हुई \अति भोतिक वादी सुखो
से त्रस्त मानव को अध्यात्मिक शान्ति प्रदान
करने में पुरातन विधा योग का
महत्वपूर्ण स्थान है \ सूर्य की किरने
सामान रूप से सभी जीवो को ऊष्मा व्
प्रकाश प्रदान करती है \जीवन की उत्पत्ति
में रवि का महत्वपूर्ण योगदान है \ फिर सूर्य की वन्दना करने में कैसा
विवाद,सूर्य –नमस्कार मेरे मन की बात
आज संयुक्त राष्ट्र
संघ द्वारा घोषित “अन्तरराष्ट्रीय योग –दिवस
“है \उत्तरी गोलार्ध में सबसे बड़ा दिन
\ग्रीष्म –काल व वर्षा-काल का संयुक्त काल \ योग कोई नवीं विधा नहीं है \आज से पांच हजार वर्ष पूर्व
प्रारम्भ हुई विधा की समूचे विश्व में
मान्यता प्राप्त हुई \अति भोतिक वादी सुखो
से त्रस्त मानव को अध्यात्मिक शान्ति प्रदान
करने में पुरातन विधा योग का
महत्वपूर्ण स्थान है \ सूर्य की किरने
सामान रूप से सभी जीवो को ऊष्मा व्
प्रकाश प्रदान करती है \जीवन की उत्पत्ति
में रवि का महत्वपूर्ण योगदान है \ फिर सूर्य की वन्दना करने में कैसा
विवाद,सूर्य –नमस्कार स्वय में योगिक क्रिया
है |”--------------------------------दिनस्वय में योगिक क्रिया
है |”--------------------------------दिन
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